नई दिल्ली: यह एक सच्ची कहानी है, जो हमें मानवता के अंधेरे पक्ष से परिचित कराती है। यह कहानी है कोलीन स्टैन की, जो 1977 में केवल 20 वर्ष की उम्र में एक सनकी पति-पत्नी के हाथों अगवा हुई थी। उस दिन, जब उसने अपने दोस्त के जन्मदिन की पार्टी में जाने के लिए लिफ्ट मांगी, तब उसकी जिंदगी हमेशा के लिए बदल गई। कैमरन और जेनिस नामक इस दंपति ने उसे चाकू की नोक पर अगवा किया और उसके साथ एक ऐसा अत्याचार किया, जिसकी कल्पना भी किसी को नहीं हो सकती।
एक सामान्य दिन का अंत भयावहता में
19 मई 1977 को, कोलीन स्टैन अपने दोस्त के जन्मदिन की पार्टी के लिए घर से निकली थी। उसकी गाड़ी में तकनीकी समस्या आ गई थी, जिसके कारण वह सड़क पर लिफ्ट मांगने के लिए खड़ी हो गई। कुछ देर इंतजार करने के बाद, एक कार आई जिसमें कैमरन और उसकी पत्नी जेनिस थे। उन्होंने कोलीन को लिफ्ट देने का प्रस्ताव रखा। कोलीन को लगा कि यह एक सामान्य मदद है, लेकिन उसे यह नहीं पता था कि यह उसकी जिंदगी का सबसे बड़ा खतरा बन जाएगा।
जैसे ही कोलीन गाड़ी में बैठी, कैमरन ने उसे चाकू की नोक पर पकड़ लिया और उसकी आंखों पर पट्टी बांध दी। इसके बाद उसने उसे एक लकड़ी के बॉक्स में बंद कर दिया। यह बॉक्स इतना छोटा था कि कोलीन का सिर और गर्दन ही उसमें आ सकता था। कैमरन ने उसे डराया कि अगर उसने चिल्लाने की कोशिश की, तो वह उसे मार देगा।
तहखाने में कैद
कैमरन और जेनिस ने कोलीन को अपने घर के तहखाने में बंद कर दिया। यहाँ से उसकी यातना का एक नया अध्याय शुरू हुआ। कैमरन ने उसे हर दिन पीटा, दुष्कर्म किया और उसे मानसिक रूप से प्रताड़ित किया। वह उसे हर बार यह बताता कि वह उसके साथ ऐसा क्यों कर रहा है, क्योंकि उसे इस पर मजा आता है। कोलीन को हर रोज़ एक नया दर्द सहना पड़ता था, और वह सोचती थी कि क्या कभी वह इस नरक से बाहर निकल पाएगी।
परिवार की चिंता
इस बीच, कोलीन के परिवार ने उसकी गुमशुदगी की रिपोर्ट दर्ज कराई। लेकिन पुलिस ने कई बार जांच की, फिर भी कोलीन का कोई सुराग नहीं मिला। उसके माता-पिता और दोस्तों ने उसे खोजने के लिए हर संभव कोशिश की, लेकिन कोई सफलता नहीं मिली। कोलीन की अनुपस्थिति ने उसके परिवार को गहरे दुख में डाल दिया था।
एक नई शुरुआत
सात महीनों तक कोलीन को कैद में रखा गया। इस दौरान, कैमरन ने उसे आंखों से पट्टी बांधकर रखा। जनवरी 1978 में, कैमरन ने उसकी आंखों से पट्टी हटा दी। इसके बाद, उसने कोलीन को यह विश्वास दिलाने की कोशिश की कि वह अब उसे छोड़ देगा। लेकिन ऐसा कुछ नहीं हुआ। कैमरन ने उसे फिर से प्रताड़ित करना शुरू कर दिया।
एक दिन, जब कैमरन ने उसे एक नई जगह पर ले जाने की योजना बनाई, तब कोलीन ने साहस जुटाया और भागने का प्रयास किया। उसने अपना मौका देखा और वहां से भाग निकली। भागते समय, उसने एक महिला को अपने साथ हुई घटनाओं के बारे में बताया। उस महिला ने तुरंत पुलिस को सूचित किया।
न्याय की खोज
पुलिस ने तुरंत कार्रवाई की और कैमरन और जेनिस को गिरफ्तार कर लिया। कोलीन ने अपनी कहानी बताई, और उसके साहस ने उसे न्याय दिलाने में मदद की। अदालत में कैमरन को 104 साल की सजा सुनाई गई, जबकि उसकी पत्नी जेनिस को भी सजा मिली। कोलीन की कहानी ने न केवल उसके लिए बल्कि अन्य पीड़ितों के लिए भी उम्मीद की किरण जगाई।
एक नई जिंदगी की शुरुआत
कोलीन ने अपनी जिंदगी को फिर से जीने का फैसला किया। उसने अपने अनुभवों को साझा करने का निर्णय लिया, ताकि अन्य लोग भी इस तरह के अत्याचारों के खिलाफ खड़े हो सकें। उसने ‘द गर्ल इन द बॉक्स’ नामक डॉक्यूमेंट्री में अपनी कहानी साझा की, जिससे लोगों को यह समझने में मदद मिली कि मानसिक और शारीरिक अत्याचार का क्या प्रभाव हो सकता है।