
गुजरात के अमरेली जिले से एक दिल दहला देने वाली घटना सामने आई है। यहां एक दलित युवक को सिर्फ इसलिए पीट-पीटकर मार डाला गया क्योंकि उसने एक नाबालिग लड़के को ‘बेटा’ कह दिया था। इलाज के दौरान युवक की मौत हो गई। पुलिस ने मामले में अब तक 9 लोगों को गिरफ्तार किया है, जबकि एक नाबालिग को हिरासत में लिया गया है।
क्या है पूरा मामला?
घटना 16 मई की है। अमरेली-सावरकुंडला रोड पर एक भजिया स्टॉल के पास निलेश राठौड़ अपने कुछ साथियों के साथ खड़े थे। निलेश पास की एक दुकान से कुछ पैकेट लेने गए। वहां दुकानदार के नाबालिग बेटे से उन्होंने मदद मांगते हुए कहा, “बेटा, क्या ऊपर से पैकेट निकाल सकते हो?” बस यही शब्द दुकानदार को नागवार गुजरे और उसने राठौड़ पर हमला कर दिया।
हिंसक हमला और जातिसूचक गालियां
राठौड़ के साथियों ने जब बीच-बचाव करने की कोशिश की, तो दुकानदार और उसके सहयोगियों ने मिलकर लोहे की कड़छी, डंडों और हसियों से हमला कर दिया। हमला करने वालों ने राठौड़ और उनके साथियों को जातिसूचक गालियां भी दीं और कहा, “नीची जाति के होकर भी ऊपर उठने की कोशिश करते हो!” हमले में गंभीर रूप से घायल राठौड़ को अस्पताल में भर्ती कराया गया, जहां इलाज के दौरान उनकी मौत हो गई।
विधायक जिग्नेश मेवाणी धरने पर बैठे
इस घटना के विरोध में कांग्रेस विधायक जिग्नेश मेवाणी पीड़ित परिवार के साथ धरने पर बैठ गए। उन्होंने फेसबुक पोस्ट में लिखा,
“निलेश राठौड़ को सिर्फ ‘बेटा’ कहने के लिए जान गंवानी पड़ी। यह जातिवाद की क्रूरता की पराकाष्ठा है। हम मांग करते हैं कि पीड़ित परिवार को 5 एकड़ जमीन या सरकारी नौकरी दी जाए, जांच किसी वरिष्ठ अधिकारी से हो और मामला फास्ट-ट्रैक कोर्ट में चले।”
पुलिस ने दर्ज किया केस
अमरेली ग्रामीण थाने में दर्ज एफआईआर में शुरू में 4 आरोपियों के नाम दर्ज किए गए थे – दुकानदार भरवाड़, विजय टोता, भावेश मुंधवा और जतिन मुंधवा। बाद में जांच में पाया गया कि कुल 11 लोग हमले में शामिल थे। पुलिस ने अब तक 9 लोगों को गिरफ्तार किया है और एक नाबालिग को हिरासत में लिया है। दो अन्य आरोपियों की तलाश जारी है।
इन धाराओं में दर्ज हुआ मामला
हमलावरों पर भारतीय न्याय संहिता (BNS) की कई गंभीर धाराएं लगाई गई हैं, जिनमें शामिल हैं:
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धारा 118(1): गंभीर चोट पहुंचाना
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धारा 115(2): जानबूझकर हमला करना
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धारा 189(2)(4): गैरकानूनी भीड़ बनाना
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धारा 190: भीड़ के सभी सदस्यों की जिम्मेदारी
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धारा 191(2)(3): दंगा करना और हथियारों के साथ हमला
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इसके अलावा SC/ST अत्याचार निवारण अधिनियम और गुजरात पुलिस एक्ट की धारा 135 भी लगाई गई है।
पुलिस का बयान
अमरेली के एसपी संजय खरात ने बताया, “एफआईआर में नामित चार आरोपियों में से एक की गिरफ्तारी के बाद पता चला कि 11 लोग हमले में शामिल थे। अब तक 9 को गिरफ्तार कर लिया गया है और शेष की तलाश की जा रही है।”